Saturday, June 25, 2011

हम उनके हुस्न के नशे मे चूर थे,
वो चुपके से आके दिल चुरा ले गए...
जब देखा हमारा प्यार उस दिल मे,
मुस्कुराके वो, दिल से खेलते रह गए...


ये दिल न जाने क्यों भूलजाता,
दिल को हैं जो  यु  लुभाता,
वो जो मेरे न पास आता,
दिल को  वो हैं बस जलाता,
बेवफा वो हैं कहलाता .....  हाआआआआ .
मंजिल मुझे मिल गयी मेरी, पर रस्ते मेरे खो गए.
खुशिया तो मुझे मिली बहुत, पर मुस्कराहट कही खो गयी
कही सपनों के पास, कही हकीकत से दूर
हर वक़्त तेरे साथ मै खुसी दुन्ड़ता रहा
मेरी ख्वाहिस के पास, मेरी किस्मत से दूर.
हर वक़्त तुझे मै अपना समझता रहा......